Copied from FB..Must Read..हम मुसलमानो के हैं,हांथो में शहनाई
थमा दी जाती है तो हम उस्ताद
बिस्मिल्लाह खान बन जाते
हमारे हांथो में तबला थमा दिया जाता है
तो हम
जाकिर साहब बनजाते हैं,
हमारे हांथो में म्यूजिक थमा दिया जाता है
तो हम आस्कर जीतने वाले
ए० आर० रहमान बन जाते हैं,
हमारे हांथो में कंही दिलकश
अदाकारी थमा दिया जाता है
युसूफ <दिलीपकुमार>बन जाते हे
हमारे हांथो में कंही दिलकश आवाज के देश
की शान
मुहम्मद रफी बन जाते हे
हमारे हाँथ में टेनिस का रैकेट
थमा दिया जाता है तो हमारी बहने
सानिया मिर्ज़ा बन जाती हैं,
हमारे हाँथ में जब साइंस थमा दी जाती है
तो हम
अब्दुल कलाम बन जाते हैं,
वतन का जज्बा थमा दिया तो
अशफाक़उल्ला खान कही अब्दुलहमीद खान बन
जाते हे ,
क्या हर बात की शहादत दे हजारो दिन के
उलेमा कुर्बान हुए जंगे आजादी में ,
हमारे हाँथ में जब गेंद और
बल्ला पकड़ा दिया जाता है तो हम
नबब पटेदि अली खान और जाहिर खान बन
जाते हैं,
क्योंकि हमें अव्वल रहने की आदत है, हमारे कदम
लड़खड़ाए तो हम
हाजी मस्तान भी बन गये हों,
हमे तालीम चाहिए हम जालिम नही हे , हमे
रोजगार दे दो हम हुनरमंद हे ,
हम मरकजे इल्म हे ,हमे दहशतगर्द मत समझो ,
इस जमीं पर सजदा भी हम पाक करते हे ,
मर कर भी इस ख़ाके वतन की मिटटी में पाक
ही दफ्न होंगे ,
कुरान का सिखाया हुआ हर लफ्ज रवां हे , उस
पर हर मुसलमान का इमां पक्का हे ,
मरते मर जायंगे पर वतन से गद्दारी नही करेंगे , ये
सच्चे मुसलमा का वादा हे ,.................