Firaq Gorakhpuri was one of the greatest poet of our times.
ऐसी बेहतरीन शायरी के कलमकार फिराक गोरखपुरी, का आज जन्मदिवस है। 28 अगस्त 1896 को गोला विकास खंड के ग्राम बनवारपार निवासी एक प्रतिष्ठित कायस्थ परिवार में जन्मे रघुपति सहाय उर्फ फिराक गोरखपुरी ने अपने उर्दू शायरी से दुनिया को अपना कायल बना दिया।
A son of Gorakhpur, made Gorakhpur proud by his poetry. I saw him in 1970s in Lucknow. That time he was not in very good
health. We will remember him for:
बहुत पहले से उन क़दमों की आहट जान लेते हैं.
तुझे ए ज़िन्दगी, हम दूर से पहचान लेते हैं।....Today is his "Punya Tithi".....